Edited By Punjab Kesari,Updated: 18 Nov, 2017 10:10 AM
शिरोमणि अकाली दल के प्रधान सुखबीर सिंह बादल ने पार्टी के संगठनात्मक ढांचे का पुनर्गठन करते हुए एक बड़ा बदलाव किया है।
चंडीगढ़ (हरिश्चंद्र): शिरोमणि अकाली दल के प्रधान सुखबीर सिंह बादल ने पार्टी के संगठनात्मक ढांचे का पुनर्गठन करते हुए एक बड़ा बदलाव किया है।
अनुभव और युवाओं में संतुलन बनाने के लिए जहां वरिष्ठ नेताओं को पार्टी ने बनता मान-सम्मान दिया है वहीं युवाओं को भी राजनीतिक अनुभव हासिल करने के लिए प्रमुख ओहदे दिए गए हैं। सत्ता में रहते अकाली दल के कई नेताओं को संगठन में जगह देने वाले सुखबीर ने विपक्ष में आने के बाद कई नेताओं की पार्टी पदाधिकारियों के पैनल से छुट्टी कर दी है। खास बात यह भी है कि सुखबीर की नई टीम में दिल्ली के 2 बड़े नेताओं अवतार सिंह हित व ओंकार सिंह थापर को कोई ओहदा नहीं दिया गया है जबकि मनजिंद्र सिंह सिरसा का महासचिव पद कायम रहा है।
गौरतलब है कि पदाधिकारियों की पूर्व सूची में रणजीत सिंह ब्रह्मपुरा, बलविंद्र सिंह भूंदड़, तोता सिंह, उपिंद्रजीत कौर, गुरदेव सिंह बादल, जागीर कौर, अवतार सिंह हित और भाई मंजीत सिंह को वरिष्ठ उपाध्यक्ष बनाया गया था। ताजा सूची से जागीर कौर, अवतार सिंह हित और भाई मंजीत सिंह का नाम गायब है जबकि गुरदेव बादल का निधन हो चुका है। जिन बाकी 4 नेताओं का नवगठित ढांचे में वरिष्ठ उपाध्यक्ष पद बरकरार रखते हुए 7 महासचिवों को तरक्की देकर वरिष्ठ उपाध्यक्ष बनाया है उनमें महेशइंद्र सिंह ग्रेवाल, प्रो. प्रेम सिंह चंदूमाजरा, निर्मल सिंह काहलों, जनमेजा सिंह सेखों, सेवा सिंह सेखवां, नरेश गुजराल और शरणजीत सिंह ढिल्लों शामिल हैं। चरणजीत सिंह अटवाल, आदेश प्रताप सिंह कैरों और डा. दलजीत चीमा भी वरिष्ठ उपाध्यक्ष बनाए गए हैं। डा. चीमा पहले पार्टी सचिव के पद पर थे।
4 पूर्व महासचिवों को नई लिस्ट में जगह नहीं मिली है। इनमें अवतार सिंह बराड़ का निधन हो चुका है जबकि सरवण सिंह फिल्लौर गत चुनाव से पहले कांग्रेस में शामिल हो गए थे। देश के प्रमुख उद्यमी और पार्टी के पूर्व महासचिव राजिंद्र गुप्ता का झुकाव भी अब कांग्रेस की ओर हो चुका है। हीरा सिंह गाबडिय़ा चाहे महासचिव नहीं बनाए गए मगर बैकवर्ड क्लास सैल के प्रमुख रहेंगे। डा. रतन सिंह अजनाला और बिक्रम सिंह मजीठिया ही पूर्व महासचिवों में अपने पद को बरकरार रखने में कामयाब रहे हैं। जीत मोङ्क्षहद्र सिंह सिद्धू को अब उपाध्यक्ष से महासचिव बनाया गया है।