एक माह के प्रतिबंध के बाद पाक ने शुरू किया छुआरे का एक्सपोर्ट

Edited By Updated: 26 Apr, 2017 12:40 PM

pak starts exporting after a month  s ban

पाकिस्तान के फुमीगेशन विभाग ने लगातार एक माह अपने ही छुआरे पर प्रतिबंध लगाने के बाद फिर से इसका एक्सपोर्ट शुरु कर दिया है।  इंटैग्रेटिड चैक पोस्ट (आई.सी.पी.) पर पाकिस्तानी छुआरे से लदे 20 ट्रक पहुंचे जिसको कस्टम विभाग ने क्लीयरैंस दी और ट्रकों की...

अमृतसर(स.ह.): पाकिस्तान के फुमीगेशन विभाग ने लगातार एक माह अपने ही छुआरे पर प्रतिबंध लगाने के बाद फिर से इसका एक्सपोर्ट शुरु कर दिया है।  इंटैग्रेटिड चैक पोस्ट (आई.सी.पी.) पर पाकिस्तानी छुआरे से लदे 20 ट्रक पहुंचे जिसको कस्टम विभाग ने क्लीयरैंस दी और ट्रकों की रैमजिंग व मैनुअल चैकिंग भी की गई। पाकिस्तान से छुआरे का आयात पिछले लंबे समय से किया जा रहा है ।


कुछ दबंग व्यापारियों के प्रभाव में आकर पाकिस्तान के ही फुमीगेशन विभाग ने अपने ही छुआरे की एक्सपोर्ट पर रोक लगाते हुए इसमें बीमारी होने की बात कही थी। हालांकि छुआरे का कारोबार करने वाले भारतीय व्यापारियों ने पाकिस्तान सरकार पर आरोप लगाया था कि पाकिस्तानी हिन्दू व्यापारियों को तंग करने के लिए ऐसा किया गया है। पाकिस्तान में छुआरे के 90 प्रतिशत कारोबार पर हिन्दू व्यापारियों का कब्जा है जो सिंध व आसपास के इलाकों में रहते हैं। इसी क्षेत्र से पाकिस्तानी हिन्दू भी भारी संख्या में पलायन करके भारत आ चुके हैं। छुआरे के हिन्दू व्यापारियों को इसी साजिश के तहत परेशान किया जा रहा है। फिलहाल एक बार फिर से पाकिस्तान से छुआरे का आयात शुरु हो गया है। दिल्ली, यू.पी. सहित कई राज्यों में छुआरे की मांग चलती रहती है और इसका आयात पूरे वर्ष जारी रहता है।

फिर से अमृतसर कमिश्नरेट के अंडर आए आई.सी.पी. अटारी, रेल, कार्गो व एयरपोर्ट 
कस्टम विभाग के उच्चाधिकारियों की तरफ से वर्ष 2014 के दौरान लुधियाना कमिश्नरेट व अमृतसर कमिश्नरेट को अलग-अलग कर दिया गया था और आई.सी.पी. सहित अन्य स्टेशनों में लुधियाना कमिश्नरेट व अमृतसर कमिश्नरेट के अधिकारियों को तैनात किया जाना शुरु कर दिया था लेकिन एक बार फिर से विभाग ने पहले जैसी स्थिति को बहाल कर दिया है, अब एक बार फिर से अटारी आई.सी.पी., अटारी रेलवे स्टेशन, इंटरनैशनल रेल कार्गो, इंटरनैशनल एस.जी.आर.डी. एयरपोर्ट सहित पंजाब के सभी बार्डर पोर्टर्स व जे.एंड के. के इलाके अमृतसर कमिश्नरेट के अंडर कर दिए गए हैं जबकि हिमाचल प्रदेश व अन्य यू.टी. के इलाके लुधियाना कमिश्नरेट के अंडर कर दिए गए हैं। इस पहल से पाकिस्तान के साथ आयात-निर्यात करने वाले व्यापारियों को काफी राहत मिली है क्योंकि ट्रेड से संबंधित सारे काम लुधियाना कमिश्नरेट में शिफ्ट हो गए थे जिससे अमृतसर के व्यापारियों व सी.एच.एज. को अपने व्यापारिक कामों के लिए अमृतसर से लुधियाना जाना पड़ता था जो किसी भी दृष्टि से ठीक नहीं था अब फिर से सारा काम अमृतसर कमिश्नरेट के अंडर आ गया है लेकिन कमिश्नर कस्टम कैप्टन संजय गहलोत ही सारा काम देख रहे हैं। विभाग की इस पहल का व्यापारियों ने भी स्वागत किया है क्योंकि व्यापारियों ने ही केन्द्रीय वित्त मंत्रालय से मांग की थी कि अमृतसर के दफ्तरों का काम अमृतसर में शिफ्ट किया जाए।     

पाकिस्तान में फंसी 7 करोड़ की भारतीय सोयाबीन
पाकिस्तानी व्यापारियों ने ऐसा पहली बार नहीं किया है जब बिना कारण किसी इंपोर्ट आइटम पर बैन लगाया हो। छुआरे के साथ-साथ पाकिस्तान के फुमीगेशन विभाग ने सोयाबीन के 84 ट्रक पिछले 40 दिनों से रोके हुए हैं और इस सोयाबीन को न तो वापिस किया जा रहा है और न ही पाकिस्तानी व्यापारियों को रिलीज किया जा रहा है। सोयाबीन की कीमत लगभग 7 करोड़ रुपए बनती है और पाकिस्तान इसमें बीमारी का बहाना बनाकर इनको रोके हुए है। हालांकि पाकिस्तान को पिछले लंबे समय से सोयाबीन का निर्यात जारी है और आई.सी.पी. अटारी के माध्यम से भारी मात्रा में सोयाबीन के ट्रक पाकिस्तान को एक्सपोर्ट किए जाते रहे हैं फिलहाल एक व्यापारिक साजिश के तहत भारतीय व्यापारियों की सोयाबीन को रोका गया है जिसका व्यापारिक एसोसिएशन्स भारी विरोध कर रही हैं।

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