Edited By Punjab Kesari,Updated: 07 Oct, 2017 10:35 AM
हनीप्रीत का भटिंडा में ठहरना एक संयोग था या जान बूझकर पुलिस को भटकाने की कोशिश? इस सवाल को लेकर हरियाणा पुलिस गंभीरता से सोचने के
भटिंडा(विजय): हनीप्रीत का भटिंडा में ठहरना एक संयोग था या जान बूझकर पुलिस को भटकाने की कोशिश? इस सवाल को लेकर हरियाणा पुलिस गंभीरता से सोचने के लिए मजबूर है क्योंकि पूछताछ के दौरान हनीप्रीत व उसकी सहेली ने माना कि वह कुछ दिन भटिंडा में रुकी थीं। जब उसे भटिंडा आर्य नगर में लाया गया तो हनीप्रीत ने केवल इतना कहा कि वह भटिंडा आई जरूर थी लेकिन घर कौन-सा है, याद नहीं। एस.आई.टी. के अधिकारी उससे लगातार पूछताछ करते रहे और उसका गला सूखता रहा।
वह बार-बार पानी की मांग करती रही, यह उसके सबसे बड़े झूठ की निशानी थी। पुलिस अधिकारी भी मानते हैं कि वह पुलिस से झूठ बोलकर भटकाने की कोशिश में है। एस.आई.टी. को कुछ ऐसे इनपुट मिले हैं जिनमें हनीप्रीत को संरक्षण देने में 3 अहम किरदार सामने आए हैं। ये वे लोग हैं जो डेरा मुखी के करीबी माने जाते हैं। एस.आई.टी. के उच्चाधिकारी ने नाम न बताने की शर्त पर खुलासा करते हुए कहा कि अभी तक इनका नाम सार्वजनिक न किया जाए तो बेहतर है। पुलिस को जांच के दौरान कुछ ऐसे सबूत हाथ लगे जिससे यह साबित होता है कि हनीप्रीत कुछ दिन यहां रुकी जरूर थी। अब तक की जांच में पता चला है कि हनीप्रीत ने 38 दिनों में कम से कम 17 मोबाइल के सिम कार्ड प्रयोग किए और वह व्हाट्स एप द्वारा अपने शुभचिंतकों से संपर्क करती थी। व्हाट्स एप कालिंग में पुलिस भी ट्रैकिंग के लिए असहाय हो जाती है, इसी का फायदा उसने उठाया।
झूठ बोलने में माहिर हनीप्रीत से सच उगलवाना पुलिस को मुश्किल नजर आ रहा है, यही कारण है कि बल्लूआणा में छापामारी को रद्द किया गया। बेशक बल्लूआणा डेरा समर्थकों का गढ़ माना जाता है। 25 अगस्त को डेरा मुखी को दोषी करार दिए जाने के बाद बङ्क्षठडा में सबसे पहले बल्लूआणा स्टेशन को आग लगाई गई थी। हरियाणा पुलिस का बल्लूआणा जाना तय था, इसकी पुष्टि एस.एस.पी. भटिंडा नवीन सिंगला ने भी की लेकिन जब उनका काफिला गणेशा बस्ती में रुका और वहां उन्होंने 2 से अढ़ाई घंटे पूछताछ की, संतुष्टि न होने व झूठ बोलने के कारण हरियाणा पुलिस ने बल्लूआणा की छापामारी रद्द की। एस.आई.टी. के एक अधिकारी ने अनौपचारिक वार्ता में बताया कि बङ्क्षठडा से उन्हें बहुत कुछ मिलने की उम्मीद है परंतु हनीप्रीत उन्हें सहयोग नहीं कर रही। अगर उसका रवैया ऐसे ही रहा तो उसका नार्कोटिक टैस्ट भी करवाया जा सकता है जिसमें वह झूठ नहीं बोल सकेगी और तोते की तरह पुलिस के सवालों का उत्तर देगी।