Edited By Punjab Kesari,Updated: 26 Jul, 2017 01:10 PM
गांव मंड के किसान नहरी पानी की किल्लत कारण परेशान हैं क्योंकि पानी के बिना उनकी धान की फसल खराब हो रही है, जिसे देखकर वे आत्महत्या करने बारे सोच रहे हैं।
श्री हरगोबिन्दपुर/घुमाण (रमेश): गांव मंड के किसान नहरी पानी की किल्लत कारण परेशान हैं क्योंकि पानी के बिना उनकी धान की फसल खराब हो रही है, जिसे देखकर वे आत्महत्या करने बारे सोच रहे हैं।
गांव मंड के किसानों स्वर्ण सिंह व दलजीत सिंह द्वारा गांव के गण्यमान्यों पूर्व सरपंच दलजीत सिंह, रतन सिंह, गुलजार सिंह, हेम सिंह आदि के साथ पूर्व विधायक देस राज धुग्गा से मिलकर अपने साथ हो रही धक्केशाही प्रति अवगत करवाया। उन्होंने बताया कि वर्तमान सरकार की शह पर जानबूझकर उन्हें तंग-परेशान किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि उनकी लगभग 40 एकड़ जमीन पर धान की फसल लगी है, जिसे नहरी पानी लगाया जाता है लेकिन नहरी विभाग द्वारा उनकी फसल को पानी देने वाला अस्थायी रास्ता बंद कर दिया गया है, जिससे उनकी फसल सूख रही है जिसे वे नहीं देख सकते, इसलिए वे आत्महत्या करने हेतु मजबूर हैं।
उन्होंने बताया कि पिछले लगभग 20 वर्षों से वे अपनी फसल नहरी विभाग के इस रास्ते से पानी लेकर सिंचाई कर रहे हैं लेकिन अब राजनीतिक रंजिश के चलते कुछ व्यक्तियों द्वारा उनका पानी बंद करवा दिया गया है जबकि अन्य सभी को पानी मिल रहा है। उन्हें कुछ कांग्रेसी नेताओं द्वारा पानी देने के एवज में कांग्रेस पार्टी में शामिल होने के लिए दबाव डाला जा रहा है। पूर्व विधायक धुग्गा ने किसानों को इंसाफ दिलवाने का आश्वासन दिया है।जब नहरी विभाग के एस.डी.ओ. गुरचरण सिंह से बातचीत की गई तो उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा अस्थायी पानी का रास्ता शुरू करने के लिए अभी तक मंजूरी नहीं दी गई व बिना मंजूरी के लगे रास्तों को बंद किया गया है। जब भी सरकार से मंजूरी मिलेगी, पानी शुरू कर दिया जाएगा।