Edited By Punjab Kesari,Updated: 09 Jan, 2018 01:09 PM
शहर में आज कानून की धज्जियां उड़ाने वाली एक अजब घटना देखने को मिली। हुआ यूं कि शहर के बीचों-बीच स्थित तथा होलसेल दवाओं की मार्कीट के रूप में जानी जाती दिलकुशा मार्कीट में जब नगर निगम की टीम प्लास्टिक लिफाफों के चालान करने पहुंची तो एक एसोसिएशन ने...
जालंधर(खुराना): शहर में आज कानून की धज्जियां उड़ाने वाली एक अजब घटना देखने को मिली। हुआ यूं कि शहर के बीचों-बीच स्थित तथा होलसेल दवाओं की मार्कीट के रूप में जानी जाती दिलकुशा मार्कीट में जब नगर निगम की टीम प्लास्टिक लिफाफों के चालान करने पहुंची तो एक एसोसिएशन ने पब्लिक अनाऊंसमैंट करके पूरी मार्कीट को ही बंद करवा दिया ताकि निगम टीम अपनी कार्रवाई न कर सके। मार्कीट बंद होने से पूर्व निगम टीम ने 4-5 दुकानदारों से चालान काटे। गौरतलब है कि पंजाब सरकार ने प्लास्टिक के लिफाफों पर कई माह पहले पाबंदी लगा रखी है परंतु सरकारी तंत्र की ढील के कारण शहर के हजारों दुकानदार प्लास्टिक के लिफाफों का धड़ल्ले से प्रयोग कर रहे हैं। नगर निगम के हैल्थ ऑफिसर डा. श्रीकृष्ण शर्मा ने सैनेटरी इंस्पैक्टरों पर आधारित 4 टीमें दिलकुशा मार्कीट भेजीं ताकि प्लास्टिक के लिफाफे प्रयोग करने वाले दुकानदारों के चालान काटे जा सकें। इन टीमों का मार्कीट में विरोध भी हुआ और जब मार्कीट बंद कर दी गई तो निगम टीमों को वापस बुला लिया गया।
प्लास्टिक कारण बढ़ रहा है कूड़ा
इस घटना पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए निगम के हैल्थ ऑफिसर डा. श्रीकृष्ण शर्मा ने बताया कि शहर में रोज भारी मात्रा में कूड़ा पैदा हो रहा है जिसमें ज्यादा संख्या प्लास्टिक कैरी बैग्स की देखी जा रही है। प्लास्टिक पर अंकुश लगाने के उपायों के तहत टीमों को सक्रिय किया गया है। दिलकुशा मार्कीट को बंद कर दिए जाने की घटना उनके ध्यान में लाई गई है। निगम पाबंदी को लागू करवाएगा और ऐसा अभियान अन्य क्षेत्रों में भी चलाया जाएगा। उन्होंने बताया कि मार्कीट में 400 के करीब होलसेल दुकानें स्थित हैं जहां 4 हजार के करीब कैमिस्ट रोज दवाएं इत्यादि लेने आते हैं। अगर ये लोग प्लास्टिक के लिफाफों का प्रयोग बंद कर दें तो स्थिति में काफी सुधार हो सकता है।