Edited By Punjab Kesari,Updated: 01 Nov, 2017 12:17 PM
शाही शहर पटियाला में डेंगू, मलेरिया और वायरल का कहर शिखर पर पहुंच गया है और शहर के इतिहास में पहली बार प्राइवेट अस्पताल इस कद्र फुल हो चुके हैं कि उनकी तरफ से नए बुखार के मरीजों को दाखिला देने से इंकार कर दिया गया है।
पटियाला (परमीत): शाही शहर पटियाला में डेंगू, मलेरिया और वायरल का कहर शिखर पर पहुंच गया है और शहर के इतिहास में पहली बार प्राइवेट अस्पताल इस कद्र फुल हो चुके हैं कि उनकी तरफ से नए बुखार के मरीजों को दाखिला देने से इंकार कर दिया गया है।
‘पंजाब केसरी’ की टीम की तरफ से आज शहर के 3 प्रमुख अस्पतालों का दौरा किया गया तो पाया गया कि इन अस्पतालों में मरीजों के लिए लगाए गए बैड फुल हो चुके हैं जिसके चलते अस्पतालों की तरफ से बुखार पीड़ित मरीजों को दाखिले से न की जा रही है। यह हालात पहली बार शहर में देखने को मिल रहे हैं। अब तक डेंगू के 1,083 मामलों की पुष्टि हो चुकी है, 2,243 संदिग्ध मरीज सामने आए हैं जबकि सेहत विभाग की तरफ से घर-घर लारवा की चैकिंग की शुरू की गई मुहिम के दौरान 22,850 स्थानों पर डेंगू का लारवा पाया गया है।
बीमारी के लिए कौन जिम्मेदार, बहस बरकरार
मुख्यमंत्री के जिलों में बीमारी के लिए कौन जिम्मेदार है, इसको लेकर आम बहस जारी है। जहां सेहत विभाग के अधिकारी कह रहे हैं कि उनका काम तो इलाज के साथ संबंधित है, फॉगिंग का काम तो नगर निगम की जिम्मेदारी बनती है, तब आम लोग इस बात से हैरान हैं कि अलग-अलग विभागों की तरफ से एक-दूसरे पर जिम्मेदारी डालने से आम लोग किस से जवाबदेही की आस रखें।
सरकारी अस्पतालों में गंदगी की भरमार, डाक्टर भी हुए बीमार
शहर के राजिन्द्रा अस्पताल में बेशक आम गरीब जनता इलाज के लिए सबसे अधिक आ रही है परन्तु अस्पताल का दौरा करने पर देखा गया कि अस्पताल में कई स्थानों पर गंदगी की भरमार है। ऐसे में जब इन अस्पतालों ने बीमारी के इलाज के लिए काम करना है, ये खुद बीमारी के केंद्र बनते नजर आ रहे हैं। इस दौरान ही सरकारी अस्पतालों के डाक्टर और पैरा मैडीकल स्टाफ भी इस बीमारी की लपेट में आ गए हैं। अस्पताल का काफी स्टाफ छुट्टी पर बताया जा रहा है जो डेंगू या वायरल से पीड़ित है।