Edited By Punjab Kesari,Updated: 09 Aug, 2017 08:28 PM
पंजाब विश्वविद्यालय की ओर से 15 सदस्यीय कमेटी की सिफारिशों को मंजूर कर रि-....
अमृतसर: पंजाब विश्वविद्यालय की ओर से 15 सदस्यीय कमेटी की सिफारिशों को मंजूर कर रि-अपीयर वाले विद्यार्थियों में अगली कक्षा में दाखिला लेने की स्वीकृति दे दी गई है। इस फैसले से अब रि-अपीयर वाले विद्यार्थी ग्रेजुएशन में रि-अपीयर के बाद भी मास्टर्स में दाखिला ले सकते हैं। छात्र संगठन नेशनल स्टूडेंट््स फेडरेशन ने मांग की है कि ठीक इसी तर्ज पर पंजाब के दूसरे विश्वविद्यालयों में भी रि-अपीयर वाले विद्यार्थियों को दाखिले देने के लिए नोटिफिकेशन जारी करें। इससे विद्यार्थियों का एक वर्ष खराब न हो।
एनएसएपफ की पंजाब इकाई के उपाध्यक्ष सतविंदर सिंह और राज्य महासचिव राजविंदर राजा ने पंजाब सरकार से मांग की है कि पंजाब सरकार रि-अपीयर वाले विद्यार्थियों के साल को बर्बाद होने से बचाते हुए उनको अगले पाठ्यक्रम में दाखिला लेने की मंजूरी दे जिससे विद्यार्थी आगे टेक्निकल और उच्च शिक्षा प्राप्त कर सकें। पंजाब और दूसरों राज्यों में जिन विद्यार्थियों की रि-अपीयर आती है, उन विद्यार्थियों को पहल के आधार पर दाखिले दिए जाने चाहिए जिससे वह विद्यार्थी आगे की पढ़ाई को साथ में ही शुरू कर सकें। एनएसएफ नेताओं ने कहा कि इस बार पंजाब और दूसरे राज्यों में बहुत ज्यादा विद्यार्थियों की रि-अपीयर आई है और उन विद्यार्थियों का साल बर्बाद हो रहा है।
बहुत से राज्यों में रि-वैलूएशन के नतीजे भी देर से आ रहे हैं। कई राज्यों में तो रि-अपीयर की परीक्षा भी बहुत देर से हो रही है जिससे विद्यार्थी परेशान हैं। यदि रि-अपीयर के विद्यार्थियों को आगे वाली पढ़ाई के लिए मंजूरी मिल जाए तो उनका साल बच सकता है। इस तरीके के साथ वह नए पाठ्यक्रम की पढ़ाई के साथ-साथ अपनी रि-अपीयर की परीक्षा भी दे सकते हैं। यदि इसके बावजूद भी किसी विद्यार्थी की पूरे साल के दौरान भी रि-अपीयर क्लीयर नहीं होती तो उस विद्यार्थी की नए पाठ्यक्रम की आगे वाली पढ़ाई भी रद्द कर दी जाए। यदि पंजाब सरकार ऐसा फैसला लेती है तो विद्यार्थियों के हित में होगा।