Edited By Punjab Kesari,Updated: 09 Sep, 2017 01:48 PM
शहर में ब्लू व्हेल टास्क को पूरा करने के लिए खुदकुशी की कोशिश करने वाले छात्र के दोस्त भी गेम का झांसे में आ गए हैं।
पठानकोटः शहर में ब्लू व्हेल टास्क को पूरा करने के लिए खुदकुशी की कोशिश करने वाले छात्र के दोस्त भी गेम का झांसे में आ गए हैं। सेहत विभाग ने अब उन सभी साथियों को ढूंढना शुरू कर दिया है। हालांकि जिला पुलिस ऐसे बच्चों को ट्रेस करने में कोई दिलचस्पी नहीं दिखा रही है।
शहर में कुछ दिन पहले ब्लू व्हेल के झांसे में आकर आर्मी स्कूल के 11वीं कक्षा के छात्र ने खुदकुशी करने की कोशिश की थी। बच्चे की सिविल अस्पताल में काऊंसलिंग चल रही है। छात्र ने मनोरोग विशेषज्ञ को बताया था कि उसके 10 से अधिक दोस्त भी इसी गेम को खेल रहे हैं। इस पर सेहत विभाग ने न सिर्फ उक्त छात्र के स्कूल में बल्कि अन्य स्कूलों में भी बच्चों को ढूंढना शुरू कर दिया है। सेहत विभाग ने टीमें बनाकर उक्त छात्र के दोस्तों पर नजर रखनी शुरू कर दी है।
सिविल अस्पताल के सीनियर मैडीकल अफसर डॉ. भूपिंदर सिंह ने बताया कि उनकी ओर से विभिन्न स्कूलों की लिस्टें तैयार कर अपनी स्पेशल टीमों को दे दी गई हैं। ये टीमें स्कूलों में जाकर बच्चों को ऐसी गेमों से दूर रहने के लिए जागरूक करेंगी। इसके अलावा सुसाइड की कोशिश करने वाले बच्चे के साथियों को ढूंढने के लिए खास तौर पर आर्मी स्कूल के प्रिंसीपल, स्टाफ और उक्त बच्चे के सहपाठियों से बातचीत कर रहे हैं।
पुलिस के पास अब तक ब्लू व्हेल के खिलाफ कोई भी शिकायत नहीं आई है। गेम का शिकार हुए बच्चे के परिजनों, स्कूल और न ही किसी सोशल एक्टिविस्ट ने गेम के खिलाफ आवाज उठाई है। डी.एस.पी. सिटी सुखजिंदर सिंह ने बताया कि गेम के खिलाफ कोई शिकायत किसी भी थाने में किसी भी व्यक्ति ने नहीं दी है। मामले में पुलिस की दिलचस्पी न लेने पर एस.एस.पी. विवेकशील सोनी ने कहा कि गेम खेल रहे दूसरे बच्चों को ढूंढने के लिए सेहत विभाग के मनोरोग विशेषज्ञ अपना काम कर रहे हैं। यह सेहत विभाग से जुड़ा मामला है। इसमें पुलिस विभाग का कोई दखल नहीं है।