Edited By Punjab Kesari,Updated: 23 Aug, 2017 12:38 PM
सिविल अस्पताल गुरदासपुर मे लापरवाही के चलते एक एड्स पीड़ित महिला की डिलीवरी होने संबंधी पैदा हुए विवाद में नया मोड़ ले लिया है। जांच के बाद सेहत विभाग ने एड्स से पीड़ित महिला तथा आशा वर्कर को आरोपी ठहराते हुए उन्हें नोटिस जारी किया।
गुरदासपुर (विनोद, दीपक): सिविल अस्पताल गुरदासपुर मे लापरवाही के चलते एक एड्स पीड़ित महिला की डिलीवरी होने संबंधी पैदा हुए विवाद में नया मोड़ ले लिया है। जांच के बाद सेहत विभाग ने एड्स से पीड़ित महिला तथा आशा वर्कर को आरोपी ठहराते हुए उन्हें नोटिस जारी किया।
उल्लेखनीय है कि गांव सल्लपुर चक्क शरीफ की रहने वाली एक गर्भवती महिला को 20 जुलाई को अस्पताल जांच के लिए लाया गया था। उस समय एक आशा वर्कर भी उसके साथ थी। टैस्ट करने पर गर्भवती महिला एड्स पीड़ित पाई गई। फिर वही महिला 2 अगस्त को अन्य आशा वर्कर के साथ आप्रेशन के लिए अस्पताल में भर्ती हो गई। उसके पास जो टैस्ट रिपोर्ट थी उस पर एड्स नैगेटिव लिखा हुआ था। ड्यूटी पर तैनात डाक्टर ने उसका सिजेरियन ऑप्रेशन कर दिया।
ऑप्रेशन के बाद जिस महिला डाक्टर ने 20 जुलाई को गर्भवती की जांच की थी, ने कहा कि वह एड्स पीड़ित है। तब पूरे अस्पताल में हड़कम्प मच गया, क्योंकि ऑप्रेशन करते वक्त महिला डाक्टर सहित 5 कर्मचारियों ने सहयोग किया था। सिविल सर्जन ने इस मामले की जांच के आदेश दिए थे। इस सारे केस की जांच मे पाया गया कि जिस गर्भवती महिला का ऑप्रेशन हुआ था उसने जानबूझ कर एड्स पीड़ित होने की बात छुपाई, जबकि आशा वर्कर ने भी अपनी ड्यूटी में लापरवाही की।