Edited By Punjab Kesari,Updated: 22 Nov, 2017 09:05 AM
पंजाब में कांग्रेस सरकार का 8वां माह भी पहले 7 माह जैसा निराशाजनक रहा।
चंडीगढ़ (ब्यूरो) : पंजाब में कांग्रेस सरकार का 8वां माह भी पहले 7 माह जैसा निराशाजनक रहा। सरकार का हर मंत्री अपने महकमे का कार्य करने में नाकाम है, हर तरफ समस्याओं का अंबार है। 3 महकमे लोकल बॉडी, स्वास्थ्य व शिक्षा विभाग ऐसे हैं जिनकी कारगुजारी 8वें माह में सबसे अधिक लोगों को परेशान कर रही है। यह कहना है भाजपा पंजाब के प्रदेश उपाध्यक्ष हरजीत सिंह ग्रेवाल व प्रदेश सचिव विनीत जोशी का जो कि पंजाब सरकार के 8वें माह की कारगुजारी की रिपोर्ट पेश कर रहे थे।
स्थानीय निकाय विभाग डेंगू रोकने के लिए समय पर उचित प्रबंध नहीं कर पाया। स्वास्थ्य विभाग में भी ऐसी ही स्थिति थी। सरकारी अस्पतालों में भी डेंगू से निपटने की तैयारी नहीं थी। स्वास्थ्य विभाग मरीजों का इलाज करने में नाकाम रहा, मरीज दर-दर की ठोकरें खाते रहे।
शिक्षा विभाग की कारगुजारी भी ठीक नहीं रही। आधा सैशन बीत जाने के बावजूद पंजाब सरकार के मिडल व सीनियर सैकेंडरी स्कूलों में पढ़ रहे 8 लाख विद्याॢथयों को स्कूली वॢदयां नहीं मिली हैं। 18 लाख स्कूली विद्याॢथयों को पौष्टिक भोजन देने वाली मिड-डे मील स्कीम लगभग बंद हो चुकी है। ठंड के मौसम में बच्चों के बैठने व अन्य सुविधाओं के प्रबंध किए बिना प्राइमरी स्कूलों में नर्सरी, यू.के.जी. व एल.के.जी. की क्लासें शुरू कर छोटे बच्चों को भयंकर असुविधा में डाल दिया है।
पूर्ण कर्ज माफी का चुनावी वायदा न पूरा किए जाने के कारण अब तक 322 किसान आत्महत्या कर चुके हैं। किसान हर तरफ से मर रहा है, कर्ज माफी की आस में किसानों ने दिसम्बर, 2016 से कर्ज वापस करना बंद कर दिया, 93,778 किसान डिफाल्टर हो चुके हैं, सहकारी संस्थाएं जो किसानों को खाद, बीज के रूप में ऋण देती थीं, अब अपने लगभग 7 हजार कर्मचारियों को पिछले 6 माह से सैलरी नहीं दे पाई हैं।