Edited By Punjab Kesari,Updated: 14 Aug, 2017 10:19 AM
आम लोगों की पुलिस में सुनवाई के लिए शुरू की गई सर्विस डायल 181 भी अब जनता के लिए वरदान साबित नहीं हो रही है। बेहतर लॉ एंड ऑर्डर व अच्छा प्रशासन देने का जनता से वायदा कर सत्ता में कांग्रेस सरकार आने के बाद यह सुविधा का लोगों को लाभ नहीं मिल रहा और...
फरीदकोट (हाली): आम लोगों की पुलिस में सुनवाई के लिए शुरू की गई सर्विस डायल 181 भी अब जनता के लिए वरदान साबित नहीं हो रही है। बेहतर लॉ एंड ऑर्डर व अच्छा प्रशासन देने का जनता से वायदा कर सत्ता में कांग्रेस सरकार आने के बाद यह सुविधा का लोगों को लाभ नहीं मिल रहा और फोन मिलाने पर कम्प्यूटर बोलता रहता है कि हमारे सभी सहयोगी व्यस्त हैं कृपया थोड़ी देर में काल करें।
इसके चलते लोगों को काफी परेशानी हो रही है और असामाजिक तत्व इसका फायदा उठा रहे हैं। जिले में इस समय गैंगस्टरों का बोलबाला है, जिसके चलते गत एक महीने में 2 वारदातों को गैंगस्टर अंजाम दे चुके हैं व 2 लोगों की हत्या भी की जा चुकी है।
क्या स्थिति है 181 नंबर की
इस नंबर पर जाने वाली शिकायत को अब पुलिस अधिकारी गंभीरता से नहीं लेते और न ही शिकायत को टाइम बाऊं ड निपटाया जाता है। राज्य की जनता को किसी भी तरह की बदइंतजामी से बचाने के लिए 22 अगस्त, 2013 को पूर्व उप मुख्यमंत्री सुखबीर बादल ने डायल 181 हैल्पलाइन शुरू की थी। जहां राज्य का कोई भी नागरिक इस पर जानकारी देकर अपनी शिकायत दर्ज करवा सकता था।
इस शिकायत को टाइम बाऊंड रखा जाता था तो डायल 181 हैल्पलाइन पर शिकायत जाने के बाद इसकी तुरंत जानकारी मुख्यमंत्री ऑफिस, डी.जी.पी. ऑफिस व अन्य अधिकारियों को जाती थी। इस पर तुरंत काम शुरू हो जाता था और एस.एस.पी. खुद इसे गंभीरता से लेते थे। वहीं हर जिलों में एस.एस.पी. क्राइम बैठक लेता था और सभी पैंङ्क्षडग पड़े निपटारों के लिए पूछताछ की जाती थी।
क्या है सर्विस की कार्यप्रणाली
इस नंबर पर आने वाली हर शिकायत के निपटारे के बाद मुख्यमंत्री व डी.जी.पी. आफिस को सूचित करना होता था क्योंकि पूरे मामले में मुख्यमंत्री व डी.जी.पी. आफिस का डर होता था और केस को जल्द से जल्द निपटाने की तरफ ध्यान दिया जाता था, जिसके कारण सभी की सुनवाई हो जाती थी।
मगर राज्य में कैप्टन सरकार आते ही डायल 181 पर आने वाली शिकायतों को अब गंभीरता से नहीं लिया जा रहा। 2 से 3 महीने पहले की गई शिकायतों में कई अभी तक लटकी हुई हैं। कमिश्नर दफ्तर से लेकर एस.एस.पी. दफ्तर तक अब इन शिकायतों को समय पर नहीं निपटाया जा रहा और आने वाली शिकायत पर तुरंत कार्रवाई भी नहीं हो रही। 181 पर आने वाली शिकायतें पुलिस अधिकारियों के दफ्तरों में अब धूल फांकने लगी हैं और जनता को न्याय नहीं मिल पा रहा।
शिकायतों का क्या है हाल
181 नंबर पर लोगों द्वारा की गई शिकायतों में से जिले के थाना सिटी फरीदकोट में 22, सदर फरीदकोट में 8, सादिक में 3, सिटी कोटकपूरा 7, सदर कोटकपूरा 26, जैतो 27 और थाना बाजाखाना 1 शिकायत पिछले 3 महीनों में प्राप्त हुई है। पूरे साल की करीब 1000 से अधिक शिकायतें थानों में पैंङ्क्षडग पड़ी हैं, जिसका कोई हल नहीं किया जा रहा है। लोगों ने कहना है कि पुलिस द्वारा जारी किया गया 181 हैल्पलाइन नंबर अब कभी-कभी ही चलता है। जब भी लोग घटना संबंधी जानकारी देने या अपनी शिकायत दर्ज करवाने के लिए इस सुविधा का फायदा लेना चाहते हैं तो यह सुविधा नहीं मिलती।
क्या कहते हैं हलका विधायक
विधायक कुशलदीप सिंह ढिल्लों ने कहा कि वह इस मामले को लेकर निजी तौर पर डी.जी.पी. से बात करेंगे और इस नंबर को दोबारा चालू करवाकर लोगों को आ रही परेशानी से निजात दिलवाएंगे। उन्होंने कहा कि पंजाब में कांग्रेस की सरकार बने हुए कुछ ही समय हुआ है और सरकार चुनाव में किए गए अपने वायदों को पूरा करने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है। वहीं सरकार लोगों की समस्यों के हल के लिए पहल के आधार पर कार्य कर रही है।
क्या कहते हैं अधिकारी
इस संबंधी जिले के सीनियर पुलिस कप्तान डा. नानक सिंह ने कहा कि 181 नंबर की सॢवस का हैड क्वार्टर स्तर पर हिसाब होता है और वहीं से ही उससे संपर्क किया जाता है। हम तो वहां से आने वाली शिकायतों की सूची लेकर उनके आधार पर कार्रवाई करते हैं।