Edited By Updated: 08 May, 2017 01:38 PM
2019 के आम चुनाव में अभी दो वर्ष बचे हैं लेकिन भारतीय जनता पार्टी ने इसके लिए अभी से कमर कस ली है।
नई दिल्ली/जालंधरः 2019 के आम चुनाव में अभी दो वर्ष बचे हैं लेकिन भारतीय जनता पार्टी ने इसके लिए अभी से कमर कस ली है। पार्टी कार्यकर्ताओं को इसके लिए तैयार करने के मकसद से भाजपा अध्यक्ष अमित शाह 95 दिवसीय देशव्यापी दौरे पर निकले हैं जिसकी शुरुआत उन्होंने जम्मू कश्मीर के दो दिवसीय दौरे से की। जम्मू-कश्मीर के बाद भाजपा अध्यक्ष ओडिशा, लक्ष्यद्वीप, तेलांगाना और गुजरात के दौरे पर जाएंगे।
इसके बाद अगले माह वे पंजाब का दौरा करेंगे जिसमें हाल ही में विधानसभा चुनावों में हुई पार्टी की हार पर फोक्स रहेगा। पंजाब विधानसभा चुनाव के बाद प्रदेश भाजपा अध्यक्ष का बदला जाना तो पहले से ही तय था लेकिन पार्टी के खराब प्रदर्शन के चलते अब इसकी संभावनाएं काफी प्रबल हो गई हैं। इन हालातों में प्रदेशाध्यक्ष पद के लिए सांसद श्वेत मलिक सहित राकेश राठौर, नरेंद्र परमार और प्रवीण बंसल के नाम सबसे अधिक चर्चा में हैं। यूं तो पूर्व प्रदेशाध्यक्ष कमल शर्मा और अश्विनी शर्मा के नाम पर भी विचार-विमर्श जारी है लेकिन विभिन्न कारणों से उन्हें दोबारा यह पद सौंपे जाने की संभावनाएं कम ही हैं।
गौरतलब है कि सांपला ने पंजाब विधानसभा चुनाव के लिए टिकट बंटवारे में उनकी न सुने जाने पर नाराजगी व्यक्त करते हुए प्रधान और मंत्री पद से इस्तीफे की पेशकश पार्टी अध्यक्ष अमित शाह को भेजी थी। लेकिन कुछ समय पहले अमित शाह से मिलने पहुंचे सांपला ने कहा कि यह खबर झूठी और महज अफवाह है। उन्होंने कहा कि मैं पार्टी के लिए काम करूंगा।
बताया जा रहा था कि सांपला अपने संसदीय क्षेत्र की सभी 4 विधानसभा सीटों और जालन्धर की दो सीटों पर अपने उम्मीदवारों को उतारना चाहते थे। लेकिन, इनमें से एक भी सीट पर उनके उम्मीदवार को टिकट नहीं दिया गया जबकि उनके खेमे से सिर्फ फगवाड़ा से सोम प्रकाश और जालंधर वेस्ट से मोहिंदर भगत को ही टिकट मिला।