Edited By Updated: 05 May, 2016 03:17 PM
1984 में दिल्ली समेत देश के अलग-अलग हिस्सों में एक गहरी साजिश के अधीन किए गए सिख कत्लेआम के
लुधियाना(सलूजा): 1984 में दिल्ली समेत देश के अलग-अलग हिस्सों में एक गहरी साजिश के अधीन किए गए सिख कत्लेआम के आरोपियों को आज तक सजा न मिलने से पीड़ित परिवारों में भारी बेचैनी व रोष पाया जा रहा है।
यदि इस मामले में इंसाफ न मिला तो 5 दंगा पीड़ित महिलाएं दिल्ली में जंतर-मंतर पर मरणव्रत पर बैठेंगी। यह ऐलान आज यहां दंगा पीड़ित वैल्फेयर सोसायटी पंजाब के प्रधान सुरजीत सिंह व गुरदीप कौर ने पत्रकार सम्मेलन के दौरान पत्रकारों से बातचीत करते हुए किया। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार के गृहमंत्री की तरफ से यह घोषणा की गई है कि दंगा पीड़ित परिवारों की संख्या 30 हजार के करीब है। इनमें से 27 हजार परिवारों के पंजाब सरकार की तरफ से लाल कार्ड बनाए गए हैं।
केंद्र सरकार ने यह भी ऐलान किया है कि पीड़ित 1020 परिवारों को 2-2 लाख रुपए की ग्रांट दी जाएगी जोकि दंगा पीड़ित परिवारों के साथ धोखे के अलावा और कुछ नहीं है। प्रधान सुरजीत सिंह व गुरदीप कौर ने पंजाब के उपमुख्यमंत्री सुखबीर सिंह बादल से पुरजोर अपील की है कि वह सिख कत्लेआम के आरोपियों को सजा दिलवाने व पंजाब भर में आकर बसे 30 हजार परिवारों को 5-5 लाख रुपए की ग्रांट दिलवाने के लिए प्रधानमंत्री के साथ बातचीत करें।