Edited By Punjab Kesari,Updated: 07 Jan, 2018 11:02 AM
लैंड स्लाइडिंग दौरान लापता हुए एक भारतीय जवान के पारिवारिक सदस्य उसके जीवित या मुर्दा होने की जानकारी हासिल करने के लिए पिछले डेढ़ साल से चक्कर काट रहे हैं, किंतु उसका कोई पता न चलने के कारण लापता जवान की पत्नी व बच्चे परेशान हैं।
टांडा(जसविंद्र): लैंड स्लाइडिंग दौरान लापता हुए एक भारतीय जवान के पारिवारिक सदस्य उसके जीवित या मुर्दा होने की जानकारी हासिल करने के लिए पिछले डेढ़ साल से चक्कर काट रहे हैं, किंतु उसका कोई पता न चलने के कारण लापता जवान की पत्नी व बच्चे परेशान हैं।
टांडा के गांव दवाखरी का रहने वाला जवान बलवीर सिंह भारतीय फौज की 1444 बी.सी. कम्पनी ग्रिफ में अरुणाचल प्रदेश में तैनात था। उसके पिता दर्शन सिंह ने बताया कि उसका लड़का ओ.सी. देवकी नंदन का ड्राइवर था। सितम्बर 2016 दौरान उन्हें सूचना मिली कि उनके बेटे का लैंड स्लाइडिंग के कारण एक्सीडैंट हो गया है। मौके पर पहुंच कर बलवीर सिंह को ढूंढने के लिए फौज की मदद से 3 दिन तक सर्च ऑप्रेशन चलाया गया लेकिन कोई सफलता नहीं मिली।
दर्शन सिंह ने कहा कि अगर पाकिस्तान या विदेश में फंसे लोगों को वापस लाने में भारत सरकार इतने प्रयत्न कर सकती है तो अपने इस जवान के लिए, जो सड़कें बनाने वाली कम्पनी जनरल रिजर्व इंजीनियरिंग फोर्स में तैनात था, को ढूंढने के लिए प्रयत्न क्यों नहीं कर रही? इस दौरान लापता जवान की पत्नी सीमा ने बताया कि उसका पति ही उनका एकमात्र सहारा था। भारत सरकार ने उसके परिवार से बेइंसाफी करते हुए ड्यूटी दौरान लापता होने के बावजूद उसके परिवार को मिलने वाला वेतन भी बंद कर दिया है। पिता ने इस केस को संदिग्ध बताते हुए इसकी सी.बी.आई. से जांच करवाने की मांग की है।