Edited By Punjab Kesari,Updated: 05 Nov, 2017 11:03 AM
पंजाब में भले ही कांग्रेस पार्टी की सरकार हो लेकिन सच्चाई यह है कि कैप्टन सरकार के राज में भी फगवाड़ा के भाजपा विधायक सोमप्रकाश कैंथ की तूती बोलती है।
फगवाड़ा (जलोटा): पंजाब में भले ही कांग्रेस पार्टी की सरकार हो लेकिन सच्चाई यह है कि कैप्टन सरकार के राज में भी फगवाड़ा के भाजपा विधायक सोमप्रकाश कैंथ की तूती बोलती है।
इसका ज्वलंत प्रमाण आज विधायक सोमप्रकाश कैंथ ने स्वयं फेसबुक पर लाइव मैसेज के साथ तब फगवाड़ा वासियों को दिया जब उन्होंने बताया कि नगर निगम फगवाड़ा द्वारा गत दिनों शहर की पॉश कालोनी गुरु हरगोबिन्द नगर सहित अन्य कई इलाकों में जो नोटिस कुछ दुकानदारों व शोरूम मालिकों को रिहायशी जमीन पर कमॢशयल कॉम्पलैक्स का निर्माण करने हेतु जारी किए थे वे अब पूरी तरह से प्रभावहीन हो गए हैं। वहीं भाजपा विधायक सोमप्रकाश कैंथ द्वारा की गई उक्त फेसबुक पर लाइव घोषणा के पश्चात फगवाड़ा के सियासी गलियारों में बड़ा ‘धमाका’ हो गया है।
यह सियासत की बादशाहत है या सियासत में है राज की नीति?
-आखिर वह कौन-सा बड़ा राजसी फार्मूला है कि पंजाब में कैप्टन सरकार के राज में जब पूरे प्रदेश में अकाली-भाजपा नेता काम न होने के रोने ‘रो’ रहे हैं जबकि भाजपा विधायक सोमप्रकाश कैंथ पलक झपकते ही कार्य करवा लेते हैं।
-फगवाड़ा छोटे अफसरों से लेकर बड़े पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों में भी विधायक सोमप्रकाश कैंथ का पूरा दबदबा है।
-कांग्रेसी नेताओं को अधिकारी पल्ला झाड़कर मिलते हैं जबकि सोमप्रकाश कैंथ के समर्थकों के कार्यों को लेते हैं हाथों हाथ।
-भाजपा विधायक सोमप्रकाश कैंथ भाजपा में बड़े से बड़े राजनेता को दे डालते हैं बड़ा झटका
वह कौन-सा ऐसा बड़ा राज अथवा फार्मूला है कि पंजाब में एक ओर जहां कैप्टन सरकार के आने के बाद पूरे प्रदेश में अकाली-भाजपा नेता अपने हलकों के कार्यों को लेकर कांग्रेस सरकार को कोसने में कोई कसर नहीं छोड़ रहे हैं जबकि इसके ठीक विपरीत फगवाड़ा में भाजपा विधायक सोमप्रकाश कैंथ जब चाहें जैसा चाहें चंडीगढ़ स्थित पंजाब सरकार के शीर्ष सरकारी कार्यालयों से वह काम करवा लाते हैं जो खुद स्थानीय कांग्रेसी नेता चाहकर भी नहीं करवा पाते हैं। और तो और सोमप्रकाश कैंथ का भारतीय जनता पार्टी में भी इतना जबरदस्त राजसी रसूख है कि पंजाब में वह बड़े से बड़े भाजपा नेता को सार्वजनिक तौर पर बड़ा झटका देने से पीछे नहीं हटते हैं।
इसका ताजा उदाहरण तब देखने को मिला जब पंजाब भाजपा के एक उपप्रधान को कैंथ ने शिअद (ब) से भाजपा गठबंधन संबंधी की गई बयानबाजी को गलत करार देते हुए सवाल कर डाला कि वह राजनेता कौन होता है जो शिअद (ब)-भाजपा गठबंधन को लेकर सवाल उठाए। अब इस सबके पीछे भाजपा विधायक सोमप्रकाश कैंथ की सियासत की बादशाहत है या सियासत में है राज की नीति?