Edited By Punjab Kesari,Updated: 23 Jan, 2018 01:47 PM
द पंजाब स्टेट डिस्ट्रिक्ट (डी.सी.) आफिस इम्प्लाइज एसो. द्वारा पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार डी.सी. दफ्तर कर्मचारियों ने अपने संघर्ष को दोबारा से शुरू करते हुए सोमवार को सारा कामकाज बंद कर कलमछोड़ हड़ताल शुरू की और अपनी मांगों के समर्थन में...
जालधर(अमित): द पंजाब स्टेट डिस्ट्रिक्ट (डी.सी.) आफिस इम्प्लाइज एसो. द्वारा पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार डी.सी. दफ्तर कर्मचारियों ने अपने संघर्ष को दोबारा से शुरू करते हुए सोमवार को सारा कामकाज बंद कर कलमछोड़ हड़ताल शुरू की और अपनी मांगों के समर्थन में जमकर प्रदेश सरकार के खिलाफ रोष-प्रदर्शन किया। कर्मचारियों की हड़ताल के कारण डी.सी. दफ्तर का सारा कामकाज ठप्प रहा और दूर-दराज के इलाकों से अपने-अपने काम के लिए आने वाली जनता त्रस्त हुई। इस संबंधी जानकारी देते हुए जालंधर यूनिट के प्रधान नरेश कुमार ने बताया कि कैप्टन सरकार का मुलाजिमों के प्रति व्यवहार अच्छा नहीं है।
मुलाजिमों को जायज मांगों के लिए टालमटोल किया जा रहा है। डी.सी. दफ्तर में स्टाफ की भारी कमी है। पदोन्नतियां भी नहीं हो रही हैं। सरकार गैर-वित्तीय मांगों को लेकर भी संजीदा नहीं है। डी.सी. दफ्तरों में 2100 क्लर्कों की जरूरत है, जिसमें से 616 मंजूरशुदा पोस्टें भरने के लिए एस.एस. बोर्ड को लिखा हुआ है, करीब 2 साल से भर्ती प्रक्रिया लंबित है। 536 क्लर्कों और 52 सीनियर सहायकों की पोस्टों की रचना करने संबंधी फाइल वित्त विभाग के पास लंबित है। पिछले अढ़ाई सालों से 12 के करीब सुपरिटैंडैंट ग्रेड-1 की पोस्टें पदोन्नति के लिए विभागीय पदोन्नति कमेटी (डी.पी.सी.) की मीटिंग माल विभाग की तरफ से नहीं करवाई गई। इसमें जालंधर मंडल की तीन पोस्टें खाली पड़ी हुई हैं। यह पदोन्नतियां न होने के कारण निचले स्तर की पदोन्नतियों में भी मुश्किल आ रही है। इसके अलावा डी.सी. दफ्तरों में लगाए गए जिला अटार्नी और उप-जिला अटार्नी प्रशासन के साथ लीगल सैल स्थापित करें, आर.टी.आई, आर.टी.एस., ई-गवर्नैंस और चुनावों के साथ संबंधित शाखाएं बनाकर पोस्टों की रचना करने और स्टाफ की बेहद जरूरत है।
महंगाई भत्ते की किस्तें और पे-कमीशन की रिपोर्ट देने से खजाना खाली कहकर आगे डाला जा रहा है। इसलिए सर्वसम्मति से इस बात का फैसला लिया गया है कि अब आर-पार की लड़ाई लड़ी जाएगी, जिसके तहत पहले चरण में 15 जनवरी, 2018 को समूह डी.सी. दफ्तर, एस.डी.एम. दफ्तरों और तहसीलों में अतिरिक्त सीटों का काम कर रहे कर्मचारियों द्वारा कामकाज बंद कर दिया गया था और अपनी पहली पोस्ट जहां सैलरी-ड्रा होती है, वहीं पर काम करना आरंभ किया गया था। इसके साथ ही 15 व 16 जनवरी, 2018 को जिला स्तर पर गेट रैली निकालकर सरकार के खिलाफ रोष-प्रदर्शन किया गया था। सरकार ने फिर भी मांगें नहीं मानी, जिसके चलते दूसरे चरण में 22 व 23 जनवरी को कलमछोड़ हड़ताल कर अगली रणनीति का ऐलान किया जाएगा, जिसमें अनिश्चितकालीन हड़ताल भी शामिल है। इसकी सारी जिम्मेदारी प्रदेश सरकार की होगी।