Edited By Punjab Kesari,Updated: 03 Feb, 2018 08:27 AM
पंजाब में अकाली-भाजपा सरकार के समय विभिन्न स्थानों पर हुई बेअदबी की घटनाओं की जांच कर रहे जस्टिस रणजीत सिंह कमिश्नर के साथ शिरोमणि अकाली दल के प्रधान परमजीत सिंह सरना के नेतृत्व में एक सिख बुद्धिजीवियों के वफद ने मुलाकात करके पहलुओं पर विचार-विमर्श...
जालंधर(चावला): पंजाब में अकाली-भाजपा सरकार के समय विभिन्न स्थानों पर हुई बेअदबी की घटनाओं की जांच कर रहे जस्टिस रणजीत सिंह कमिश्नर के साथ शिरोमणि अकाली दल के प्रधान परमजीत सिंह सरना के नेतृत्व में एक सिख बुद्धिजीवियों के वफद ने मुलाकात करके पहलुओं पर विचार-विमर्श किया तथा जस्टिस साहिब को रिपोर्ट जल्द से जल्द मुख्यमंत्री को सौंपने की अपील भी की।
सरना ने बताया कि उनके साथ धर्म प्रचार कमेटी के पूर्व चेयरमैन तरसेम सिंह खालसा, सिख बुद्धिजीवी गुरतेज सिंह आई.ए.एस., प्रो. गुरदर्शन सिंह ढिल्लों, गुरजोत सिंह साहनी व मनजीत सिंह सरना थे। उन्होंने कहा कि जस्टिस रणजीत सिंह को वफद ने अपील की कि बरगाड़ी कांड के दोषियों की शिनाख्त करने के साथ-साथ यह भी जांच की जाए कि गोली चलाने के हुक्म किस पुलिस अधिकारी व राजनीतिक नेता ने दिए।
इसके साथ यह भी जांच की जाए कि बरगाड़ी की घटना समय श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी के बेअदबी करने में कौन-कौन से व्यक्ति शामिल थे व घटना को अंजाम देने की साजिश किसने रची थी। उन्होंने कहा कि 8-9 महीनों की सख्त मेहनत उपरांत रिपोर्ट जल्द तैयार होने के आसार हैं पर शिरोमणि कमेटी का जस्टिस रणजीत सिंह को सहयोग न देने से शिरोमणि कमेटी की कारगुजारी भी शक के घेरे में है। उन्होंने कहा कि यह नियुक्ति शिरोमणि कमेटी की धर्म प्रचार कमेटी द्वारा जरूरी टैस्ट लेकर की जाए जिससे काफी हद तक घटित घटनाओं पर लगाम लगाई जा सकती है। श्री अकाल तख्त साहिब से बार-बार आदेश जारी होने के बावजूद भी बहुत से गुरुघरों में सुरक्षा के बंदोबस्त पूरे नहीं हैं, जिस कारण ऐसी घटनाएं घटित हुईं।