Edited By Punjab Kesari,Updated: 01 Feb, 2018 10:59 AM
दिल्ली में नजदीक आते दिखाई देते बाई इलैक्शन के मद्देनजर सी.एम. अरविंद केजरीवाल ने जहां एक ओर अपने लाभ पद के चक्कर मे फंसे 20 विधायकों को जनता के दरबार में जाने का निर्देश दे दिए हैं, वहीं दूसरी ओर केजरीवाल ने खुद ही जनता की समस्याओं को लेकर दिल्ली...
जालंधर (बुलंद): दिल्ली में नजदीक आते दिखाई देते बाई इलैक्शन के मद्देनजर सी.एम. अरविंद केजरीवाल ने जहां एक ओर अपने लाभ पद के चक्कर मे फंसे 20 विधायकों को जनता के दरबार में जाने का निर्देश दे दिए हैं, वहीं दूसरी ओर केजरीवाल ने खुद ही जनता की समस्याओं को लेकर दिल्ली के अंदरूनी बाजारों का रुख किया। वह मॉडल टाऊन, सदर बाजार, मेहरचंद डिफैंस मार्कीट व हौजरी खास बाजारों में जाकर दुकानदारों से मिले तथा सीलिंग व बदहाल बाजारों के लिए केंद्र और भाजपा सरकार को जमकर कोसा। उधर, मामले बारे पार्टी जानकारों की मानें तो केजरीवाल ‘आप’ को निगम चुनावों में दिल्ली में मिली करारी हार के बाद से काफी ङ्क्षचतित हैं और जिस प्रकार केंद्र सरकार ‘आप’ के 20 विधायकों की सदस्यता चुनाव आयोग से रद्द करवाने पर तुली है, उससे साफ है कि किसी भी समय दिल्ली में चुनावी बिगुल फूंका जा सकता है इसलिए अब केजरीवाल पूरा जोर लगा रहे हैं कि अगर दिल्ली में उपचुनाव होते हैं तो हर हाल में भाजपा को करारा झटका दिया जा सके। केजरीवाल भी जानते हैं कि अगर निगम चुनावों की तरह विधानसभा चुनावों की 70 सीटों पर भाजपा काबिज हो गई तो आम आदमी पार्टी का देशभर से बिस्तर गोल हो जाएगा।
भाजपा से होगा ‘आप’ का सीधा मुकाबला
‘आप’ के राष्ट्रीय कन्वीनर केजरीवाल ने गत दिनों दिल्ली के बाजारों का दौरा करके व कूचे-कूचे जाकर भाजपा तथा केंद्र सरकार को खूब कोसा। इससे साफ है कि केजरीवाल को भी पता है कि दिल्ली में अगर चुनाव होते हैं तो उनका सीधा मुकाबला भाजपा से होगा न कि कांग्रेस से। अगर 2019 तक अपना आधार मजबूत बनाकर रखना है तो ‘आप’ को दिल्ली में अपनी सरकार कायम रखनी पड़ेगी। खराब सड़कों और सीवरेज के नाम पर केजरीवाल को जहां यह मौका मिल रहा है कि वह भाजपा के नगर निगम प्रशासन को निकम्मा कहे, वहीं प्रशासनिक स्तर पर वह एल.जी. और केंद्र सरकार को कोसने का कोई मौका नहीं गंवा रहे। अब देखना होगा कि भाजपा के दिग्गज राजनीतिक शास्त्री जिनमें प्रधानमंत्री मोदी, अमित शाह और अरुण जेतली शामिल हैं, केजरीवाल को दिल्ली में चित करते हैं या फिर जो केजरीवाल ने जनता के दरबार में जाकर भाजपा की थू-थू करने की योजना को अमलीजामा पहनाना शुरू किया हुआ है, वह कोई रंग लाता है और भाजपा को चित करता है।