Edited By Updated: 26 Sep, 2015 01:27 PM
पंजाब के उप मुख्य मंत्री सुखबीर सिंह बादल की तरफ से मंडियों से धान की ढुलाई के लिए किसानों को खुलेआम ट्रैक्टर -ट्राली का प्रयोग करने की इजाजत देने ....
जालंधर :पंजाब के उप मुख्य मंत्री सुखबीर सिंह बादल की तरफ से मंडियों से धान की ढुलाई के लिए किसानों को खुलेआम ट्रैक्टर -ट्राली का प्रयोग करने की इजाजत देने पर पंजाब भर में ट्रक ऑपरेटरों ने एतराज जताया है । पंजाब में हुई ट्रक ऑपरेटर यूनियन की मीटिंग में पंजाब की 133 ट्रक यूनियनों के प्रधानों और प्रतिनिधिों ने हिस्सा लिया । एक राज्य में व्यापक विरोध प्रदर्शन की धमकी के कारण इस मुद्दे पर 26 सितंबर को ट्रक ऑपरेटर यूनियन केंद्रीय खाद्य मंत्री आदेश प्रताप सिंह कैरों के साथ एक बैठक में सारी बातचीत करेगी।
जानकारी के अनुसार अगर कोई सकारात्मक परिणाम नहीं निकलता है तो राज्य भर में ट्रक ऑपरेटर सरकार के निर्देशों के खिलाफ सड़कों पर आ जाएगा। हाल ही में राज्य सरकार ने फसलों की जल्दी खरीद सुनिश्चित करने के लिए किसानों को अनुमति दी थी कि धान की ढुलाई अपने स्वयं के ट्रैक्टर ट्राली से अनाज मंडियों से गोदामों तक कर सकते हैं। यहां तक की जो किसान खुद की ट्रैक्टर-ट्राली का उपयोग भी करते हैं उन्हें भी भारतीय खाद्य निगम द्वारा निर्धारित शुल्क के रूप में परिवहन के लिए भुगतान करना पड़ता हैं।
इस मौके पर ट्रक ऑपरेटर यूनियन के प्रधान हैपी संधू ने बताया कि पंजाब में इस समय 133 ट्रक यूनियनस हैं और इन के साथ करीब 93 हज़ार के करीब ट्रक जुड़े हुए हैं।पंजाब में बड़ा उद्योग न होने के कारण इन में से करीब 50 हजार ट्रक सिर्फ खेती फसलों की सीजनल ढुलाई के कारोबार के साथ जुड़े होने के कारण बाकी समय लगभग किसी काम में नहीं लाए जाते । इस तरह इन 50 हजार परिवारों की आमदन का कोई ओर साधन नहीं है।खेती की फसल की ढुलाई के साथ पंजाब में करीब 300 करोड़ का कारोबार होता है जो इस समय ट्रैक्टर -ट्राली की ढुलाई के लिए प्रयोग करने के साथ बुरी तरह प्रभावित हो रहा है और ट्रक मालिक अपने खर्चे भी पूरे नहीं कर सकते।
हैप्पी संधू All-Punjab Truck Operators Union का कहना है कि मोटर वाहन के तहत एक्ट के अनुसार ट्रैक्टर-ट्रेलरों का उपयोग कमर्शियल पर्पस के लिए नहीं किया जा सकता है। यहां तक कि हाल ही में पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय ने ये आदेश जारी किए थे कि ट्रैक्टर ट्राली को सिर्फ कृषि के लिए प्रयोग किया जा सकता हैं और इसे किसी भी व्यावसायिक गतिविधि के लिए इस्तेमाल नहीं किया जा सकता है ।संधू का कहना है कि यहां तक की पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय ने ये बात स्पष्ट कर दी हैं फिर भी राज्य सरकार किसानों को ट्रैक्टर -ट्राली का प्रयोग कमर्शियल पर्पस के लिए करने को कह रही हैं।
संधू ने आरोप लगाते हुए कहा कि सारे ट्रक ऑपरेटर राज्य सरकार को भारी भुगतान अदा करते हैं पर ट्रैक्टर-ट्राली अपरेटर सरकार को एक पैसा भी नहीं दे रहे जबकि अभी भी सरकार ट्रक ऑपरेटरों को पागल बनाने में लगी हैं। संधू ने इस बात पर जोर देते हुए कहा कि पिछले कुछ साल में ट्रैक्टर ट्रेलर्स का प्रयोग करने से कई घातक दुर्घटनाएं घटी थी। उन्होंने कहा कि युनियन ने कमर्शियल पर्पस के लिए ट्रैक्टर के उपयोग से संबंधित पहले से ही उच्च न्यायालय में एक रिट दायर की थी ।