Edited By Punjab Kesari,Updated: 14 Sep, 2017 05:25 PM
प्रश्न पत्र लीक मामले की सुनवाई कर रहे पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय ने गत 16 जुलाई को हुई हरियाणा न्यायिक परीक्षा 2017 रद्द कर दी है।
चंडीगढ़ः प्रश्न पत्र लीक मामले की सुनवाई कर रहे पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय ने गत 16 जुलाई को हुई हरियाणा न्यायिक परीक्षा 2017 रद्द कर दी है। न्यायालय के रजिस्ट्रार जनरल ने आज यहां बताया कि उच्च न्यायालय की भर्ती,पदोन्नति, एवं अदालत गठन कमेटी (अधीनस्थ न्यायिक सेवाएं) ने शुरूआती जांच में पाया है कि कुछ उम्मीदवारों के परीक्षा से पूर्व ही प्रश्न पत्र हाथ लग चुका था।
15 सितंबर को होगी अगली सुनवाई
ऐसे में उसने यह परीक्षा रद्द करने की सिफारिश की थी। न्यायालय की पूर्ण पीठ अब इस मामले में अगली सुनवाई 15 सितंबर को करेगी। कमेटी ने अपनी सिफारिशें गत 12 सितंबर को न्यायालय की पूर्ण पीठ के समक्ष रखीं थीं जो इस परीक्षा को चुनौती दिए जाने संबंधी याचिका पर सुनवाई कर रही है। पीठ ने सुनवाई के बाद परीक्षा रद्द करने के निर्देश दिए थे। कमेटी ने अपनी जांच में पाया कि न्यायालय के पंजीयक(भर्ती) बलविंदर शर्मा और एक उम्मीदवार सुनीता के बीच गत एक वर्ष के दौरान लगभग 760 कॉल और एसएमएस का आदान प्रदान हुआ।
कमेटी ने की गहराई से जांच करने की सिफारिश
यह भी पाया गया कि परीक्षा में अव्वल रहीं सुनीता और सुशीला के हाथ पहले ही प्रश्न पत्र लग चुका था ऐसे में अन्य उम्मीदवारों तक इसके पहुंचने से इन्कार नहीं किया जा सकता। कमेटी ने शर्मा के खिलाफ न केवल अनुशासनात्मक कार्रवाई करने बल्कि उनके उन्हें तत्काल प्रभाव से पद से हटाने के अलावा शर्मा, सुनीता और सुशीला के खिलाफ एफआईआर दर्ज करके इस मामले में गहराई से जांच करने की भी सिफारिश की है।