Edited By Punjab Kesari,Updated: 06 Mar, 2018 07:49 AM
गुंडा टैक्स के नाम से बदनाम रिफाइनरी में जाने वाले ट्रकों का एक और पर्दाफाश हुआ जिसमें ट्रकों पर जाली नंबर लगाकर सामान को रिफाइनरी में भेजने की कोशिश में 3 लोगों के विरुद्ध मामला दर्ज किया गया। यह फर्जीवाड़ा उस समय सामने आया जब रिफाइनरी के गेट पर...
बठिंडा(विजय): गुंडा टैक्स के नाम से बदनाम रिफाइनरी में जाने वाले ट्रकों का एक और पर्दाफाश हुआ जिसमें ट्रकों पर जाली नंबर लगाकर सामान को रिफाइनरी में भेजने की कोशिश में 3 लोगों के विरुद्ध मामला दर्ज किया गया। यह फर्जीवाड़ा उस समय सामने आया जब रिफाइनरी के गेट पर तैनात सुरक्षा प्रभारी गौतम अग्रवाल ने रिफाइनरी में सामान लेकर आने वाले ट्रकों की चैकिंग की तो पता चला कि ट्रकों पर नंबर प्लेट फर्जी लगी हुई है। टैक्स बचाने व सरकार को चूना लगाने के लिए ट्रक आप्रेटर आम तौर पर टैक्स अदा किए हुए ट्रकों की नंबर प्लेट का प्रयोग कर ट्रकों को रिफाइनरी के अंदर ले जाते थे।
रिफाइनरी गेट पर सुरक्षा के कड़े प्रबंध हैं जिनकी आज्ञा के बिना रिफाइनरी में परिंदा भी पर नहीं मार सकता लेकिन टैक्स चोरों ने तो ट्रक ही अंदर घुसाने की कोशिश की। रिफाइनरी अधिकारियों द्वारा पुलिस को लिखती शिकायत की गई जिसमें बताया गया कि निर्मल सिंह पुत्र दीदार सिंह निवासी गुरदासपुर, गुरबख्शीश सिंह पुत्र जसविंद्र सिंह निवासी भुच्चो, प्रितपाल सिंह पुत्र हरपाल सिंह निवासी रामपुरा फूल ने ट्रक नंबर पी.बी 03 एपी 9013 पर फर्जी नंबर प्लेट पी.बी. 03 एपी 9213 लगी हुई थी। जब अधिकारियों ने इसके इंजन नंबर व चैसिस का मिलान किया तो यह भेद खुला। यह पंजाब सरकार को चूना लगा रहे थे क्योंकि रिफाइनरी में कोई भी ट्रक जिसने टैक्स अदा न किया हो घुस नहीं सकता। बहरहाल पुलिस ने आरोपियों के विरुद्ध विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज कर एक आरोपी निर्मल सिंह को गिरफ्तार कर लिया है।
क्या कहते हैं थाना प्रभारी
रामां पुलिस स्टेशन के प्रभारी हरबंस सिंह का कहना है कि शिकायत के आधार पर ट्रक चालक मालिक व कंडक्टर के विरुद्ध मामला दर्ज कर लिया गया है। उन्होंने बताया कि रिफाइनरी में किसी किस्म का कोई गुंडा टैक्स नहीं लिया जा रहा। केवल झूठा प्रचार कर बदनाम किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि रिफाइनरी के बाहर सी.सी.टी.वी. कैमरे लगा दिए गए हैं जिसमें हर आने जाने वाले पर नजर रखी जा रही है। कोई भी ट्रक सामान लेकर दस्तावेजों सहित अंदर जा सकता है। रिफाइनरी के बाहर केवल ट्रांसपोर्ट ही अपना कार्यालय खोले हुए हैं, बाहर से आने वाले किसी भी ट्रक को रोकने की किसी की भी हिम्मत नहीं। न ही किसी बाहरी ट्रक से कोई पैसा वसूला जा रहा है।